अल्फ़ाज़-ए-हिम
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इंसान जज्बाती है...और यही ज़ज़्बात उसे इंसान बनाये रखा है. जज्बात के हटते ही इंसान निरा मशीन के अलावा कुछ भी नही। जज्बात जो दिल की बात करे उस...
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ये इश्क़ क्या है... किसी के सौंदर्य का घायल हो जाना या किसी के ज़ज़्बात का हकदार होना? ये इश्क़ क्या है... जाने-अनजाने में किसी को खुशियों का ...
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चल चुका हूं.. बढ़ चुका हूँ... अपने घर से अपने घर की तरफ। पलायन ज़िन्दगी है मेरी। कभी इस ओर तो कभी उस ओर। अजीब है, दोनों अपना ही है। इस देश का ...
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Injustice anywhere is a threat to justice everywhere. As per this logic, injustice behind the doors is also a grave threat to t...
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यह एक स्वाभाविक बात है कि लोग हमें अपने मानकों पर खरा उतरता देखना चाहते हों और यह भी निहायत संभव है कि आप उन सभी के तय मानकों पर खरा न उतर ...
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बात धुमकुड़िया-2018 के छाँव तले हो रही है, इसलिए मैं धुमकुड़िया के जिक्र के साथ अपनी बात शुरू करना चाहूंगा। धुमकुड़िय...
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फ़िल्म 'ठाकरे' का टीजर रिलीज होते ही एक नई बहस उठ खड़ी हुई है. तथाकथित सेक्युलर जमात के कुछ लोगो का मानना है की जो नवाज़ुद्दीन सिद्दी...